गीत खुशी के लीरिक्स | Geet Khushi Ke Lyrics

गीत खुशी के हिन्दी लीरिक्स | Geet Khushi Ke Lyrics In Hindi

गीत खुशी के गुनगुनाते बढ़ते जाएँ हम
मुस्कराने की कला सबको सिखलाएं हम
 रुक जाते थक कर राहों में, वे पीछे रह जाते हैं,
लगातार चलते रहते जो, वही सफल हो पाते हैं,
थके बिना चलते रहने की बात बताएँ हम।।
 
भगत, शिवा, राणा, लक्ष्मी की, परंपरा ये बलिदानी,
ज्ञानेश्वर का ज्ञान तुका, नानक की अमृत सी वाणी,
देशभक्त ज्ञानी बनने की राह दिखाएँ हम।।
 
रामानुज जगदीश रमन ने, अनगिनत आविष्कार किये,
अथक परिश्रम से माता के, सब सपने साकार किये,
अलख जगाकर विश्वगुरू फिर से कहलायें हम।।


Geet Khushi Ke Lyrics
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